देवरिया: आगामी विधान सभा सामान्य निर्वाचन-2022 के दृष्टिगत मतदेय स्थलों के सम्भाजन हेतु जिलाधिकारी आशुतोष निरंजन के निर्देशानुसार मुख्य राजस्व अधिकारी अमृत लाल बिन्द की अध्यक्षता में जिला विकास अधिकारी के कार्यकक्ष में राजनैतिक दलों के प्रतिनिधियों के साथ बैठक सम्पन्न हुई। बताया गया कि कोविड-19 महामारी के दृष्टिगत भारत निर्वाचन आयोग द्वारा मतदेय स्थलों का सम्भाजन 1200 मतदाताओं के आधार पर करने के निर्देश दिये गये हैं, जिसके के कम में मतदेय स्थलों का सम्भाजन हेतु समय सारणी निर्धारित की गयी है, जिसके अनुसार आज वर्तमान सांसद, विधानसभा सदस्यों तथा मान्यता प्राप्त राजनैतिक दलों के साथ बैठक आयोजन के पश्चात् शिकायतों एवं सुझावों के निस्तारण के बाद सूची को अंतिम रुप दिया गया। 15 सितम्बर को कण्ट्रोल टेबल की इन्ट्री की जायेगी तथा 17 सितंबर को विधानसभा क्षेत्रवार सभी संलग्नकों सहित मतदेय स्थलों की सूची को जिला निर्वाचन कार्यालय को उपलब्ध कराया जायेगा।
विधान सभा निर्वाचन क्षेत्रों के अनुसार मतदेय स्थलों का निर्धारण करने के पश्चात् मतदेय स्थलों की एक नयी सूची तैयार की जायेगी और उसका आलेख्य समस्त मान्यता प्राप्त राजनैतिक दलों के जिला स्तरीय प्रतिनिधियों को उपलब्ध कराया जायेगा। विधान सभा निर्वाचन क्षेत्रवार मतदेय स्थलों को रनिंग सीरियल नम्बर दिये जायेगें। मतदेय स्थलों की नई सूची में कोई भी आक्जिलरी (सहायक) मतदेय स्थल नहीं रखा जायेगा। राजनैतिक दलों से प्राप्त सभी प्रत्यावेदनों की सूची तैयार की जायंगें, तथा यह भी उल्लेख किया जायेगा कि प्रस्ताव स्वीकृत किया गया या नहीं। विशेष परिस्थितियों में 300 से कम मतदाता वाले मतदेय स्थलों को रखा जाना अपरिहार्य हो, तो प्रस्ताव में उस मतदेय स्थल को बनाये रखे जाने के सम्बन्ध में स्पष्ट कारण का उल्लेख कर दिया जायेगा। शहरी क्षेत्रों में जहाँ नयी आवासीय कालोनिया गत कुछ वर्षों में बनी हैं और उसमें नागरिक निवास करने लगे हैं तो वहाँ पर यथावश्यकता नया पोलिंग स्टेशन बनाया जाएगा। अत्यधिक पुराने व जर्जर भवन वाले मतदेय स्थलों को उसी मतदान क्षेत्र के अन्तर्गत उपलब्ध स्थायी भवन में स्थानान्तरित किया जाएगा। अस्थायी निर्माण वाले मतदेय स्थलों को उसी मतदान क्षेत्र के अन्तर्गत उपलब्ध स्थायी भवन में स्थानान्तरित किया जायेगा। बैठक में यह निर्देशित किया गया कि ऐसे मतदेय स्थलों को चिन्हित किया जाए जो मुख्य गाँव/दस्ती से पर्याप्त दूरी पर है, उन मतदेय स्थलों को वहाँ से हटाकर मतदान क्षेत्र के अन्तर्गत किसी सुविधाजनक भवन में स्थापित किया जाए। यह भी सुनिश्चित कर लिया जाए कि पोलिंग स्टेशन की दूरी लगभग 02 कि०मी० से अधिक न हो। जिन मतदेय स्थलों के भवन पुराने व जर्जर नहीं है और जहाँ मतदाता सूची में 1200 से अधिक मतदाता नहीं है तथा जहाँ मतदाताओं को 02 कि०मी० से अधिक दूरी चलने की आवश्यकता नहीं हैं, ऐसे मतदेय स्थलों की स्थिति में परिवर्तन नहीं किया जाए। कोई मतदेय स्थल यदि अपने मतदान क्षेत्र में उपयुक्त भवन न उपलब्ध होने के कारण मतदान क्षेत्र से बाहर स्थित है और अब मतदान क्षेत्र के अन्तर्गत उपयुक्त भवन उपलब्ध हो गया है तो ऐसे मतदेय स्थल को अपने मतदान क्षेत्र के अन्दर स्थित भवन में यदि भौतिक सत्यापन में किसी मतदेय स्थल के संबंधित विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र के बाहर स्थित होने का मामला प्रकाश में आता है तो ऐसे पोलिंग स्टेशनों को परिवर्तित कर शिफ्ट कर दिया जाए। विधानसभा क्षेत्र के अन्दर स्थापित किया जाए। सभी मतदेय स्थल भवनों के प्रयासम्भव भूतल पर होना सुनिश्चित किया जाए। दिव्यांगजनों और अशक्त मतदाताओं की सुविधा के लिये प्रत्येक मतदेय स्थल पर रेम्प की उपलब्धता सुनिश्चित की जाए। किसी भी राजनैतिक दल या लेबर यूनियन के कार्यालय से 200 मीटर के अन्दर कोई भी यह भी सुनिश्चित कर लिया जाए कि मतदेय स्थलों के सम्भाजन के पश्चात मतदेय स्थलों के स्थान में अन्तिम क्षणों में परिवर्तन न रह जाय।
देवरिया ज़िला ब्यूरो चीफ आशुतोष यादव की रिपोर्ट Yadu News Nation