मॉस्को : रूस और यूक्रेन के बीच पिछले आठ महीनों से युद्ध चल रहा है। इस दौरान कई बार परमाणु हमले की धमकी दी जा चुकी है। लेकिन मौजूदा समय में इसे लेकर तनाव अपने चरम पर है। एक रिपोर्ट में उन तीन संभवनाओं के बारे में बताया गया है जिनके तहत रूस अपने परमाणु हथियारों का इस्तेमाल कर सकता है। इनमें सबसे कम संभावनाएं दुश्मन पर परमाणु हथियार से सीधे हमले की हैं। रूस ऐसी गलती नहीं करेगा क्योंकि वह नाटो और पश्चिमी देशों को अपने खिलाफ जवाबी कार्रवाई के लिए उकसाने की गलती नहीं करेगा। कुछ दिनों पहले अमेरिकी राष्ट्रपति ने भी स्वीकार किया था कि क्यूबा मिसाइल संकट के बाद से परमाणु हमले की संभावनाएं सबसे ज्यादा हैं।
अल जजीरा की खबर के अनुसार रूस के परमाणु हमला करने की पहली संभावना यूक्रेन में किसी सैन्य ठिकाने को परमाणु हथियार से निशाना बनाने की है। लेकिन इसकी संभावना सबसे कम है। बिखरे हुए यूक्रेनी बलों पर यह हमला न सिर्फ अपेक्षाकृत कम प्रभावी होगा बल्कि यह अमेरिका और नाटो को तत्काल और एक महत्वपूर्ण जवाबी हमले के लिए उकसा सकता है। परमाणु हमले के बाद तबाही के खतरे बेहद गंभीर और पूरी तरह स्पष्ट हैं।
परमाणु परीक्षण की संभावनाएं सबसे ज्यादा
रूस के परमाणु हथियार इस्तेमाल करने की दूसरी संभावना अंतरराष्ट्रीय जल में काला सागर पर इसका प्रदर्शन है। हालांकि यह भी तमाम जोखिमों से भरा है लेकिन यह नाटो को जवाबी कार्रवाई के लिए ट्रिगर नहीं करेगा और युद्ध में संभावित वृद्धि को रोका जा सकता है। पुतिन की तरफ से परमाणु हथियार के इस्तेमाल की तीसरी संभावनाएं रूसी धरती एक परमाणु परीक्षण के रूप में है जिसकी संभावनाएं सबसे ज्यादा हैं।
कई शहरों में मच जाएगी भगदड़
अगर पुतिन ऐसा करते हैं तो यह वायुमंडलीय परीक्षण को लेकर परीक्षण प्रतिबंध संधि का उल्लंघन होगा लेकिन इससे नाटो की ओर से सैन्य प्रतिक्रिया के संभावना नहीं है। यह परीक्षण दुनिया को याद दिला देगा कि रूस के पास दुश्मन से मुकाबला करने के लिए भयानक हथियारों के रूप में कई साधन मौजूद हैं। उद्देश्य चाहें जो हो, परमाणु हथियार के इस्तेमाल से दुनिया में दहशत पैदा हो जाएगी और कई शहर अव्यवस्था का शिकार हो जाएंगे जहां से नागरिक भागने लगेंगे।
