सर्दियों का मौसम शुरू हो गया है और मौसम में संक्रमण और बीमारियों का खतरा डबल हो जाता है. आंखों पर ठंड का गहरा प्रभाव होता है. कड़ाके की ठंड का आपकी आंखों पर भी प्रभाव पड़ता है और यही वजह है कि इन दिनों आंखों की देखभाल को नजरअंदाज नहीं करना चाहिए. ठंड के मौसम में सर्द हवाओं के चलने, धूप नहीं निकलने और पाला पड़ने से आपकी आंखें ड्राई हो सकती हैं.ठंड के मौसम में आंखों में खुजली और जलन होने के साथ लाल होना आम है. इतना ही नहीं आपको आंखों के आसपास म्यूकस जमना, बेचैनी होना, कांटेक्ट लेंस पहनना, आंखो में पानी आना आदि जैसे लक्षण भी महसूस हो सकते हैं.
बरतें ये सावधानियां
स्माॅग से बचाएं
शहरों में स्मॉग में मौजूद वायु प्रदूषक एलिमेंट्स हमारे स्वास्थ्य, विशेषकर आंखों पर प्रतिकूल असर डालते हैं. धूल और हानिकारक कणों से अस्पष्ट दृष्टि, लालिमा आ जाना, जलन, आंखों में ड्राइनेस और खुजली होती है. इससे बचना जरूरी है.
पॉल्यूटेड एरिया में ज्यादा परेशानी
धुंध या कुहासे में प्रदूषित हवा में मौजूद पार्टिकल्स या एलिमेंट्स का मिल जाना स्वास्थ्य के लिए हार्मफुल होता है. खासतौर पर हमारे रेस्पिरेटरी सिस्टम और आंखों पर यह प्रतिकूल प्रभाव डालता है. विंटर सीजन में कुहासे के दौरान बड़े शहरों और ज्यादा पोल्यूटेड एरिया के लोगों के लिए इस तरह की परेशानी आम बात हो गई है. ऐसे में आंखों की देखभाल बहुत आवश्यक है. इसके लिए कौन-कौन सी सावधानियां अपना सकते हैं यह जानना जरूरी है.
गाॅगल्स यूज करें
अपनी रोजमर्रा के काम या ऑफिस वर्क के लिए घर से निकलना जरूरी होता है. ऐसे में एहतियाती उपाय अपना कर निकलें, ताकि स्मॉग के संपर्क में आने पर वह आपकी आंखों को ज्यादा नुकसान नहीं पहुंचा सके. इसके लिए चश्मे का प्रयोग कर सकते हैं. जब भी आप अपने घर या कार्यालय से बाहर निकलते हैं तो आप एयर पोल्यूटेंट्स के संपर्क में आते हैं. गाॅगल्स इससे कुछ हद तक बचाते हैं.
बाइकिंग से बचें, फोर व्हीलर यूज करें
स्माॅग की स्थिति में व्यस्त सड़कों पर पैदल चलने या बाइक चलाने से बचें. जिन क्षेत्रों में भारी औद्योगिकीकरण हो अर्थात इंडस्ट्रियल एरिया हो उस क्षेत्र में जाने से बचें. संभव हो तो फोर व्हीलर या क्लोज विंडो वाली व्हीकल का प्रयोग किया जा सकता है.
पीक आवर में घर से बाहर निकलने से बचें
पीक आवर में घर से बाहर या ऑफिस से बाहर निकलने से परहेज करें, क्योंकि इस दौरान हवा में प्रदूषक तत्वों की मात्रा या पोल्यूटेंट्स की मात्रा सबसे ज्यादा होती है. यह आंखों के लिए नुकसानदायक हो सकते हैं. उस समय एयर क्वालिटी सबसे खराब होती है. वैसे समय में बाहर निकलने से बचने की जरूरत होती है.
पर्याप्त यूवी सुरक्षा वाले गाॅगल्स परफेक्ट
बाहर निकलते समय उचित आई गियर पहनें. दिन में जब भी जब आप बाहर निकलें तो धूप का चश्मा पहनें. सुनिश्चित करें कि आपके धूप का चश्मा उचित रूप से बड़ा हो. और साथ ही आंखों की बेहतर सुरक्षा के लिए उसमें पर्याप्त यूवी सुरक्षा हो. रैप-अराउंड जीरो पावर्ड आईवियर आपकी आंखों को अधिकतम सुरक्षा प्रदान करते हैं.
आंखों को रगड़ें नहीं
आंखों में प्रदूषक तत्व या डस्ट पार्टिकल चले जाने की स्थिति में आंखों को रगड़ने से बचें. यदि छोटे प्रदूषक तत्व आंखों में चले जाते हैं, तो अपनी आंखों को रगड़ें नहीं. राहत के लिए अपनी आंखों को ठंडे पानी से अच्छी तरह धो सकते हैं. आई ड्रॉप डालें.
एयर फिल्टर का इस्तेमाल करें
जब भी आप घर के अंदर हों तो आंखों की उचित देखभाल करें. जब आप बाहर से वापस घर आएं तो अपनी आंखों को ठंडे पानी से जरूर धोएं. घरेलू एयर फिल्टर का इस्तेमाल करें. यह हवा में मौजूद सूक्ष्म कणों रोकता है.
आंखों पर खीरे या ठंडी पट्टी रखें
आंखों की सूजन को कम करने में मदद के लिए अपनी आंखों पर खीरे या ठंडी पट्टी रखें. विशेषज्ञों द्वारा सुझाए गए आई ड्रॉप का उपयोग करें. संक्रमण और एलर्जी लंबे समय तक बनी रहता है तो नेत्र विशेषज्ञ से मिलें.
डाइट में शामिल करें हरी पत्तेदार सब्जियां
आंखों के बेहतर स्वास्थ्य के लिए न्यूट्रिएंट्स से भरपूर डाइट लें. पौष्टिकता से भरपूर आहार खाएं जिसमें ढेर गाजर, हरी पत्तेदार सब्जियां, बादाम, अखरोट, पपीता, जामुन, मछली आदि शामिल करें. ये आंखों के लिए बेहतर होते हैं.