तेहरान : ईरान में हाल के महीनों में देश भर में सैकड़ों स्कूली छात्राओं को जहर दिए जाने की खबरें सामने आने के बाद चिंता बढ़ गई है। सीएनएन ने ईरान के सेमी-ऑफिशियल मेहर न्यूज के हवाले से बताया कि संसद के एक सदस्य शहरयार हैदरी ने कहा कि देश भर के लगभग 900 छात्रों को जहर दिया गया है। शहरयार हैदरी ने एक अनाम विश्वसनीय स्रोत के चलते यह दावा किया। ईरान के सरकारी मीडिया के अनुसार, जहर देने की पहला मामला 30 नवंबर को कोम शहर से सामने आया था, जब एक हाई स्कूल की 18 छात्राओं को अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
गत 14 फरवरी को कोम में एक अन्य घटना में, 13 स्कूलों के 100 से अधिक छात्रों को अस्पतालों में भर्ती कराया गया, जिसके बाद सरकार की तस्नीम समाचार एजेंसी ने बताया कि सभी को जहर दिया गया। फार्स न्यूज के अनुसार, राजधानी तेहरान में स्कूली छात्राओं को जहर दिए जाने की भी खबरें आई हैं, जहां मंगलवार को 35 को अस्पताल में भर्ती कराया गया। फार्स ने बताया कि वे छात्राएं अब ‘अच्छी’ स्थिति में है और उनमें से कई को बाद में अस्पताल से छुट्टी दे दी गई।
सरकारी मीडिया ने हाल के महीनों में बोरुजेर्ड शहर और चारमहल और बख्तियारी प्रांत में छात्रों को जहर दिए जाने की सूचना दी है। सीएनएन की रिपोर्ट के अनुसार, कई रिपोर्ट में लड़कियों के स्कूलों के छात्र शामिल हैं, लेकिन सरकारी मीडिया ने 4 फरवरी को लड़कों के स्कूल में जहर देने की कम से कम एक घटना की सूचना दी है। यह स्पष्ट नहीं है कि क्या घटनाएं जुड़ी हुई हैं और क्या छात्रों को निशाना बनाया गया था।
अनुसंधान और प्रौद्योगिकी के प्रभारी ईरान के उप स्वास्थ्य मंत्री यूनुस पनाही ने 26 फरवरी को कहा कि जहर प्रकृति में ‘रासायनिक’ था। लेकिन आईआरएनए के अनुसार, युद्ध में इस्तेमाल होने वाले यौगिक रसायन नहीं थे और लक्षण संक्रामक नहीं थे। पनाही ने कहा कि ऐसा प्रतीत होता है कि जहर दिए जाने का मामला लड़कियों के स्कूलों को लक्षित करने और बंद करने का जानबूझकर किया गया प्रयास है।