चीन ने ताइवान पर आक्रमण के लिए बड़े पैमाने पर नागरिक कार फेरी से लैंडिंग ऑपरेशन का अभ्यास किया

बीजिंग: चीन ने ताइवान पर आक्रमण करने के लिए बड़े पैमाने पर अभ्यास किया है। इसमें असैन्य जहाजों के जरिए चीनी सैनिकों को ताइवानी सीमा में पहुचाने की ट्रेनिंग की गई। इस ट्रेनिंग से चीन ने दिखाया कि कैसे वह ताइवान पर बेहद कम समय में आक्रमण को अंजाम दे सकता है, जिसकी किसी को भनक तक नहीं लगेगी। 31 अगस्त की सैटेलाइट इमेजरी के अनुसार, ताइवान जलडमरूमध्य के पास एक चीनी नौसेना ने एक एम्फिबियस असाल्ट शिप को देखा गया। इसके बाद चीनी नौसेना ने बड़े पैमाने पर सिविलियन शिप और युद्धपोतों के जरिए ताइवान जलडमरूमध्य में एक समुद्र तट पर सैनिकों को उतारने का अभ्यास किया।

असैन्य जहाजों का इस्तेमाल कर रहा चीन
यूएसएनआई न्यूज की रिपोर्ट के अनुसार, इस सैन्य अभ्यास में शामिल लैंडिंग क्राफ्ट सैनिकों को चीन प्रशासित द्वीप के तट पर छोड़ वापस लौट आए। इस अभियान में चीनी कार फेरी तक का इस्तेमाल किया गया। कार फेरी का इस्तेमाल आम तौर पर कारों या दूसरी गाड़ियों को एक द्वीप से दूसरे द्वीप तक ले जाने के लिए किया जाता है। रक्षा विश्लेषक टॉम शुगार्ट ने बताया कि इस अभ्यास में चीन ने बड़े पैमाने पर असैन्य जहाजों का इस्तेमाल किया। इसका उद्देश्य दुनिया को भ्रमित करने का था कि चीन कोई सैन्य कार्रवाई की योजना बना रहा है।

अमेरिकी एम्फिबियश शिप से तीन गुना बड़ा है चीनी जहाज
शुगार्ट ने यूएसएनआई न्यूज को बताया कि सैटेलाइट इमेज में चीनी एम्फिबियश शिप हमले का अभ्यास करते हुए देखे गए। इनकी संख्या पहले की तुलना में काफी ज्यादा थी। इसमें रोल-ऑन रोल-ऑफ फेरी की पहचान बो हाई हेंग टोंग के रूप में की गई है, जो 15,000 टन का बहुउद्देशीय मालवाहक जहाज है। इसका इंटरनल पार्किंग लेन तीन मंजिला है। जिसमें बड़ी संख्या में कार्गो या सैनिकों को तैनात किया जा सकता है। यह अमेरिकी नौसेना के सैन एंटोनियो-क्लास एम्फीबियस युद्धपोत (एलपीडी -17) के लगभग तीन गुना बड़ा है।

चीन ने ताइवान के चारों और बढ़ाई सैन्य गतिविधि
अमेरिकी हाउस स्पीकर नैन्सी पेलोसी की ताइवान यात्रा के एक महीने के अंदर चीन के इस युद्धाभ्यास को काफी अहम माना जा रहा है। इसे चीन का शक्ति प्रदर्शन भी कहा जा रहा है। चीन ने ताइवान के चारों और न केवल हवाई गतिविधियों के तेज किया है, बल्कि कई युद्धपोतों और पनडुब्बियों को भी तैनात कर दिया है। चीनी युद्धपोत जान बूझकर ताइवानी जल क्षेत्र में घुसकर उकसावे की कार्रवाई को अंजाम दे रहे हैं। हालांकि, इसी इलाके में मौजूद अमेरिकी और जापानी नौसेना की उपस्थिति के कारण चीन अपने मंसूबों में कामयाब नहीं हो पा रहा है।

Sunil Kumar Dhangadamajhi

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