आज रात साल का आखिरी चंद्रग्रहण, जानिए ग्रहण के बाद क्या करें और कई महत्त्वपूर्ण बातें

Chandra Grahan 2023

स्वामी विमलेश, वास्तुशास्त्री

चन्द्रग्रहण के समय साधक उपवासपूर्वक ब्राह्मी घृत (5 से 10 ग्राम का स्पर्श करके ॐ नमो नारायणाय मंत्र का आठ हजार जप करता है और ग्रहणशुद्धि होने पर उस घी को पी ले ऐसा करने से वह मेधा, कवित्व शक्ति और वाक् सिद्धि प्राप्त कर लेता है .

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चन्द्रग्रहण में ग्रहण से चार प्रहर (09 घंटे) पूर्व भोजन नहीं करना चाहिए बूढ़े, बालक और रोगी डेढ़ प्रहर (साढ़े चार घंटे) पूर्व तक खा सकते हैं मान्यता है कि ग्रहण के समय भोजन करने वाला मनुष्य जितने अन्न के दाने खाता है, उतने वर्षों तक अरुन्तुद नरक में वास करता है .

Chandra Grahan 2023

सूतक से पहले पानी में कुशा, तिल या तुलसी-पत्र डाल के रखें ताकि सूतक काल में उसे उपयोग में ला सकें. ग्रहणकाल में रखे गये पानी का उपयोग ग्रहण के बाद नहीं करना चाहिए किंतु जिन्हें यह सम्भव न हो वे उपरोक्तानुसार कुशा आदि डालकर रखे पानी को उपयोग में ला सकते हैं .

Tulsi

ग्रहण-वेध के पहले जिन पदार्थों में कुश या तुलसी की पत्तियाँ डाल दी जाती हैं, वे पदार्थ दूषित नहीं होते . पके हुए अन्न का त्याग करके उसे गाय, कुत्ते को डालकर नया भोजन बनाना चाहिए.

Chandra Grahan 2023

ग्रहण वेध के प्रारम्भ में तिल या कुश मिश्रित जल का उपयोग भी अत्यावश्यक परिस्थिति में ही करना चाहिए और ग्रहण शुरू होने से अंत तक अन्न या जल नहीं लेना चाहिए.

Chandra Grahan 2023

ग्रहण पूरा होने पर स्नान के बाद सूर्य या चन्द्र, जिसका ग्रहण हो उसका शुद्ध बिम्ब देखकर अर्घ्य दे कर भोजन करना चाहिए .

chandra grahan lunar eclipse 2023

ग्रहणकाल में स्पर्श किये हुए वस्त्र आदि की शुद्धि हेतु बाद में उसे धो देना चाहिए तथा स्वयं भी वस्त्रसहित स्नान करना चाहिए. स्त्रियाँ सिर धोये बिना भी स्नान कर सकती हैं.

Chandra Grahan 2023

ग्रहण के स्नान में कोई मंत्र नहीं बोलना चाहिए. ग्रहण के स्नान में गरम जल की अपेक्षा ठंडा जल, ठंडे जल में भी दूसरे के हाथ से निकाले हुए जल की अपेक्षा अपने हाथ से निकाला हुआ, निकाले हुए की अपेक्षा जमीन में भरा हुआ, भरे हुए की अपेक्षा बहता हुआ, (साधारण) बहते हुए की अपेक्षा सरोवर का, सरोवर की अपेक्षा नदी का, अन्य नदियों की अपेक्षा गंगा का और गंगा की अपेक्षा भी समुद्र का जल पवित्र माना जाता है .

Chandra Grahan 2023

ग्रहण के समय गायों को घास, पक्षियों को अन्न, जरूरतमंदों को वस्त्रदान से अनेक गुना पुण्य प्राप्त होता है .

Chandra Grahan 2023

ग्रहण के समय पत्ते, तिनके, लकड़ी और फूल नहीं तोड़ने चाहिए . बाल तथा वस्त्र नहीं निचोड़ने चाहिए और दंतधावन नहीं करना चाहिए.

Chandra Grahan

ग्रहण के समय ताला खोलना, सोना, मल-मूत्र का त्याग और भोजन ये सब कार्य वर्जित हैं. ग्रहण के समय कोई भी शुभ और नया कार्य शुरू नहीं करना चाहिए.

Sunil Kumar Dhangadamajhi

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